• New product

Pratigya

(5.00) 3 Review(s) 
2020
978-93-81997-97-7

Select Book Type

Earn 2 reward points on purchase of this book.
In stock

You might also like

Reviews
प्रेमचंद की भाषा और कथा की विशेषता को दिखाने में "प्रतिज्ञा" उनकी अद्वितीय शैली का उत्कृष्ट उदाहरण है।
Priyanka Joshi, Kanpur , U.P
इस कहानी में सम्पूर्णता और समर्पितता दिखाई गई है, जिससे पाठक न केवल रोमांचित होते हैं बल्कि समाजिक संदेश को समझते भी हैं।
Sakshi Jain, Rajisthan
"प्रतिज्ञा" उन समाजिक मुद्दों पर गहरा विचार करने को प्रोत्साहित करती है जो आज भी हमारे समाज में मौजूद हैं।
Rajesh Mishra, Bidar , Haidrabad